रेल की पटरी पर दौड़ेंगी Maruti की 4.5 लाख कारें, मानेसर बना रफ्तार का मेगा स्टेशन

नई दिल्ली/मानेसर : Maruti Suzuki ने हरियाणा के मानेसर प्लांट में देश की सबसे बड़ी ऑटोमोबाइल इन-प्लांट रेलवे साइडिंग की शुरुआत कर दी है। इस सुविधा का उद्घाटन केंद्रीय रेल, सूचना एवं प्रसारण और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव और हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने किया।

ऑटोमोबाइल इन-प्लांट रेलवे साइडिंग रेल लाइन होती है जो सीधे किसी कार फैक्ट्री के अंदर तक जाती है। ये एक छोटा सा रेलवे स्टेशन होता है, जो फैक्ट्री के अंदर बना कारों को रेल से भेजने के लिए बना होता है। Maruti के मानेसर में रेल टर्मिनल से पूरे देश में 380 शहरों तक गाड़ियां भेजी जाएंगी।

यह Maruti का दूसरा इन-प्लांट टर्मिनल है। पहला गुजरात में है। नया टर्मिनल प्रधानमंत्री गतिशक्ति मास्टर प्लान के तहत विकसित हुआ है और इसे हरियाणा ऑर्बिटल रेल कॉरिडोर (HORC) का हिस्सा माना जा रहा है। इसे “इन-प्लांट” इसलिए कहा जाता है क्योंकि यह पूरी तरह फैक्ट्री परिसर (campus) के अंदर ही बनी होती है। अब कारों को ट्रकों से बाहर कहीं ले जाकर रेल में चढ़ाने की ज़रूरत नहीं। फैक्ट्री के अंदर ही रेल ट्रैक है, और वहीं पर मालगाड़ी आती है। गाड़ियां सीधे उसी में लोड कर दी जाती हैं। ट्रेन में एक बार में 300–400 गाड़ियां तक भेजी जा सकती हैं। ट्रेन से गाड़ियां भेजने में कम समय लगता है,कम खर्च होता है। कम डीज़ल खर्च होता है।

रेलवे साइडिंग से हर साल 4.5 लाख कारें सीधे ट्रेन से देशभर में भेजी जा सकती हैं।
रेल से गाड़ियों को भेजने पर सालाना 1.75 लाख टन धुएं जैसे गैस (CO₂) को रोका जा सकेगा। इतनी कारें ट्रकों से भेजने में हर साल 60 लाख लीटर से ज़्यादा डीज़ल-पेट्रोल खर्च होता। फैक्ट्री में बनाई गई पूरी रेल लाइन इलेक्ट्रिफाइड है । इसमें 4 रेल ट्रैक हैं जिन पर पूरी मालगाड़ी लोड/अनलोड हो सकती है। इस रेल लाइन से Maruti की गाड़ियां कार की फैक्ट्री से देश के 17 लॉजिस्टिक्स हब्स, 380 शहरों दो बड़े एक्सपोर्ट पोर्ट्स (मुंद्रा और पीपावाव) तक सीधी भेजी जा सकेंगी।